–दो दिन पहले आयकर विभाग ने 1823 करोड़ भुगतान करने को कहा था
00 कांग्रेस की तीन याचिकाएं पहले ही हो चुकी हैं खारिज
इंट्रो
कांग्रेस की मुश्किलें लगातार बढ़ती जा रही हैं। आयकर विभाग ने कांग्रेस को 1745 करोड़ रुपए का नया नोटिस थमाया है। इससे पहले शुक्रवार को करीब 1,823 करोड़ रुपए का भुगतान करने को कहा गया था। नए नोटिस के साथ आयकर विभाग ने कांग्रेस को 3567 करोड़ रुपए की डिमांड की है। इधर, कांग्रेस ने हाईकोर्ट से झटका मिलने के बाद सुप्रीम कोर्ट से गुहार लगाई है।
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नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस को आयकर विभाग से एक बार फिर नया नोटिस मिला। इसके जरिए आकलन वर्ष 2014-15 से 2016-17 तक के लिए 1,745 करोड़ रुपए के कर की मांग की गई है। सूत्रों ने रविवार को यह जानकारी दी। आयकर विभाग द्वारा कांग्रेस से अब तक कुल कुल 3,567 करोड़ रुपए के कर की मांग की जा चुकी है। सूत्रों के मुताबिक, ताजा नोटिस 2014-15 (663 करोड़ रुपए), 2015-16 (करीब 664 करोड़ रुपए) और 2016-17 (करीब 417 करोड़ रुपए) से संबंधित हैं। उन्होंने कहा कि अधिकारियों ने राजनीतिक दलों को मिलने वाली कर छूट समाप्त कर दी है और पार्टी पर कर लगा दिया है। सूत्रों ने कहा कि जांच एजेंसियों द्वारा छापे के दौरान कांग्रेस के कुछ नेताओं से जब्त की गई डायरियों में की गई ‘तीसरे पक्ष की प्रविष्टियों’ के लिए भी कांग्रेस पर कर लगाया गया है। मुख्य विपक्षी दल ने शुक्रवार को कहा था कि उसे आयकर विभाग से नोटिस मिला है, जिसमें करीब 1,823 करोड़ रुपए का भुगतान करने को कहा गया है। कर अधिकारियों ने पिछले वर्षों से संबंधित कर मांग के लिए पार्टी के खातों से 135 करोड़ रुपए पहले ही निकाल लिये हैं। कांग्रेस ने 135 करोड़ रुपए की कर मांग के खिलाफ अदालत का रुख किया है और इस मामले में सोमवार को उच्चतम न्यायालय में सुनवाई होने की संभावना है। पार्टी इस संबंध में आयकर अपीलीय अधिकरण और उच्च न्यायालय से कोई राहत पाने में विफल रही है।
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थर्ड पार्टी एंट्रीज के लिए भी लगा टैक्स
आयकर विभाग ने कांग्रेस पर थर्ड पार्टी एंट्रीज के लिए भी टैक्स लगाया है। ये एंट्रीज कथित तौर पर छापे के दौरान इसके कुछ नेताओं से जब्त की गई डायरियों में की गई थीं। शुक्रवार को कांग्रेस को विभाग से नोटिस मिला था, जिसमें टैक्स के रूप में 1823 करोड़ रुपये की भारी रकम मांगी गई थी। अधिकारियों ने पिछले साल से संबंधित टैक्स मांग के लिए पार्टी के खातों से 135 करोड़ रुपए पहले ही निकाल लिए हैं।
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सुप्रीम कोर्ट में आज सुनवाई
कांग्रेस ने आयकर विभाग द्वारा जारी 135 करोड़ रुपए की वसूली नोटिस के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया है। इस मामले में सोमवार एक अप्रैल को सुनवाई होने की संभावनाएं हैं। कांग्रेस नेताओं ने तर्क दिया कि अन्य डायरियों में भाजपा नेताओं के नाम वाली इस तरह की थर्ड पार्टी की एंट्रियों पर कोई कार्यवाही नहीं की है। उन्होंने भाजपा पर 2024 के लोकसभा चुनावों के दौरान टैक्स टेरेरिज्म में शामिल होने और प्रमुख विपक्षी दल को आर्थिक रूप से पंगु बनाने का आरोप लगाया है।
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हाईकोर्ट से लगा झटका
इससे पहले, गुरुवार को दिल्ली हाईकोर्ट ने पार्टी को झटका दिया था। अदालत ने टैक्स अधिकारियों की ओर से उनके खिलाफ चार साल की अवधि के लिए टैक्स पुनर्मूल्यांकन प्रोसिडिंग शुरू करने को चुनौती देने वाली कांग्रेस की याचिकाओं को खारिज कर दिया। दिल्ली हाईकोर्ट की बेंच ने अपने आदेश में कहा कि कांग्रेस के खातों में कई बेहिसाब लेनदेन थे। आयकर अधिकारियों के पास उनके पुनर्मूल्यांकन की कार्यवाही शुरू करने के लिए पर्याप्त और ठोस सबूत मौजूद थे। इनके आधार पर कार्रवाई शुरू की गई। मौजूदा मामला आकलन वर्ष 2017 से 2021 तक का है।
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कांग्रेस ने केंद्र पर लगाया आरोप
इस बीच, कांग्रेस ने केंद्र सरकार पर लोकसभा चुनाव से पहले पार्टी को आर्थिक रूप से ‘पंगु’ बनाने की कोशिश करने का आरोप लगाया है। कांग्रेस पार्टी की एक हालिया प्रेस कॉन्फ्रेंस में, राज्यसभा सांसद सोनिया गांधी ने कहा कि पार्टी के बैंक खातों से जबरन पैसा लिया जा रहा है।
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