5 हजार 173 बाल बाड़ियों में डेढ़ घंटे लगेगी नर्सरी क्लास!

  • नई शिक्षा नीति : आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाएं बच्चों को पढ़ाएंगी

भिलाई। नई शिक्षा नीति के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों में प्री नर्सरी की शिक्षा दी जाएगी। 5 साल तक आयु के बच्चों को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिकाएं पढ़ाएंगी। इसके लिए प्रदेशभर में 5 हजार 173 बाल बाड़ी केंद्रों की शुरूआत की गई है। 5 से 6 साल आयु वर्ग के 60 हजार बच्चे हैं। इन बाल बाड़ियों में प्राइमरी शिक्षा के लिए डेढ़ घंटे नर्सरी की क्लास लगेगी। वित्तीय बजट में और नए बाल बाड़ी केंद्र सरकार खोलने जा रही है।

महिला बाल विकास विभाग संचालक दिव्या मिश्रा ने मंगलवार को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता व सहायिका संगठनों की पदाधिकारयों की बैठक ली और कार्ययोजना की जानकारी दी।

प्री नर्सरी क्लास लगेगी डेढ़ घंटे

बाल बाड़ियों में प्री नर्सरी की क्लास डेंढ़ घंटे लगाई जाएगी। दोपहर 3.30 बजे से शाम 5 बजे तक बाल बाड़ियों में बच्चों को शिक्षा दी जाएगी। वर्तमान में प्रदेशभर के कुछ जिलों में बाल बाड़ियों का संचालन प्रायोगिक तौर शुरू किया गया है। जिसका समय शाम 5 बजे से है। जो केवल आधे या एक घंटे की चल रही है।

मिलेगा बढ़ा मानदेय

बाल बाड़ियों में बतौर शिक्षिका आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिकाओं की भूमिका तय की गई है। इसलिए जो आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिकाएं अध्यापन कार्य करेंगी, उनको बढ़ा हुआ मानदेय सरकार ने तय कर दिया है। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को 2 हजार रुपए प्रति माह और सहायिका को 1 हजार रुपए मानदेय मिलेगा।

वर्तमान में स्कूल के टीचर पढ़ा रहे

प्रदेशभर में प्रायोगिक तौर पर दो महीने से बाल बाड़ी चल रहे हैं। ये बाल बाड़ी उन स्थानों पर खोले गए हैं, जहां पर सरकारी स्कूल लगा हुआ है। यहां के सहायक शिक्षक पहले अपने स्कूलों के बच्चों को पढ़ाते हैं। जब स्कूल की छुट्टी हो जाती है, तब उसके बाद पास के बाल बाड़ियों में जाते हैं। महज आधे या एक घंटे पढ़ाते हैं। उन्हे सरकार 500 रुपए अतिरिक्त मानदेय दे रही है। यह टेम्पररी व्यवस्था पूरी तरह बदल जाएगी।

आंगनबाड़ी भवन का किराया अब 4 हजार मिलेगा

महिला बाल विकास विभाग के संचालक दिव्या मिश्रा, उप संचालक सुनील शर्मा और संयुक्त संचालक दिलदार सिंह मरावी की मौजूदगी में आयोजित बैठक में संघ की प्रदेशाध्यक्ष गुरमीत कौर, उपाध्यक्ष सोनिया मरावी विशेष रूप से शामिल रहे। जिसमें संघ ने किराये के आंगनबाड़ी भवनों का मुद्दा रखा। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि अब किराया 4 हजार रुपए मिलेगा। पहले किराया 750 रुपए सालों से दिया जा रहा था।

एंड्रायड मोबाइल और इंटरनेट खर्च भी देंगे

आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को एंड्रायड मोबाइल और उसे चलाने के लिए इंटरनेट का खर्च भी मिलेगा। सरकार आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं से पोषण ट्रैकर पर जानकारी भरने का कार्य ले रही हैं, लेकिन ये खुद के मोबाइल और पैसे नेट के लिए खर्च कर रही हैं। इंटरनेट के लिए प्रति महीने 200 रुपए दिए जाएंगे। एड्रायंड मोबाइल सरकार फ्री में देगी।

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