श्रीलंका की हालत खराब, भारत से भेजे जा रहे जरूरी सामान… राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे 13 जुलाई को देंगे इस्तीफा

राष्ट्रपति-प्रधानमंत्री आवास पर अभी भी जनता का कब्जा

श्रीलंका में आर्थिक संकट के बीच नए राष्ट्रपति के चुनाव की तारीख का ऐलान कर दिया गया है। स्पीकर महिंदा यापा अभयवर्धने ने बताया कि राष्ट्रपति पद के लिए 18 जुलाई तक नामांकन किए जा सकेंगे। इसके बाद 20 जुलाई को इस पद के लिए वोटिंग होगी। राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे 13 जुलाई को इस्तीफा देंगे। इधर, राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री निवास जनता के लिए पिकनिक स्पॉट बन गया है।

कोलंबो श्रीलंका की संसद 20 जुलाई को नए राष्ट्रपति का चुनाव करेगी, जो गोटबाया राजपक्षे का स्थान लेंगे। संसद के अध्यक्ष महिंदा यापा अभयवर्धने ने सोमवार को इसकी घोषणा की। यह फैसला आज सभी दलों के नेताओं की हुई एक अहम बैठक के दौरान लिया गया। राष्ट्रपति राजपक्षे ने अभी तक औपचारिक रूप से इस्तीफा नहीं दिया है। हालांकि उन्होंने शनिवार को अध्यक्ष को सूचित किया था कि वह 13 जुलाई को पद छोड़ देंगे। प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे ने भी कहा है कि नयी सरकार बनने के बाद वह भी पद छोड़ देंगे।

अभयवर्धने ने कहा कि राजपक्षे का बुधवार को इस्तीफा मिलने के बाद, रिक्ति की घोषणा के लिए 15 जुलाई को संसद की बैठक बुलायी जाएगी और नामांकन स्वीकार करने के लिए 19 जुलाई को फिर संसद की बैठक होगी। उन्होंने कहा कि नए राष्ट्रपति के चुनाव के लिए 20 जुलाई को संसदीय मतदान होगा। राजपक्षे शनिवार को जनविद्रोह के बाद पार्टी नेताओं के इस्तीफे के अनुरोध को स्वीकार करते हुए पद छोड़ने के लिए तैयार हो गए। श्रीलंका के संविधान के तहत, यदि राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री दोनों ही इस्तीफा दे देते हैं, तो संसद अध्यक्ष अधिकतम 30 दिनों तक कार्यवाहक राष्ट्रपति के रूप में काम करेंगे। संसद 30 दिनों के भीतर अपने सदस्यों में से किसी एक का चुनाव करेगी, जो राष्ट्रपति गोटबाया के वर्तमान कार्यकाल के बाकी दो साल के लिए पदभार संभालेंगे। श्रीलंका अभूतपूर्व आर्थिक उथल-पुथल का सामना कर रहा है। 2.2 करोड़ लोगों की आबादी वाला देश सात दशकों में सबसे खराब दौर से गुजर रहा है। श्रीलंका में विदेशी मुद्रा की भारी कमी है, जिससे देश ईंधन और अन्य आवश्यक वस्तुओं के जरूरी आयात के लिए भुगतान कर पाने में असमर्थ हो गया है। इन हालात के बीच जनता सड़कों पर है और देश में लगातार प्रदर्शन हो रहे हैं।


श्रीलंका के राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे 13 जुलाई को देंगे इस्तीफा

श्रीलंका के राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे ने आधिकारिक तौर पर प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे को बताया कि वह 13 जुलाई को इस्तीफा दे देंगे। प्रधानमंत्री विक्रमसिंघे ने कहा कि वह (राष्ट्रपति) इस्तीफा देने और सर्वदलीय सरकार बनाने का रास्ता तैयार करने के लिए भी तैयार हैं। राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे ने आधिकारिक तौर पर प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे को बताया कि वह अपनी पूर्व की घोषणा के अनुसार, 13 जुलाई को इस्तीफा दे देंगे। राष्ट्रपति राजपक्षे ने शनिवार को संसद के अध्यक्ष महिंदा यापा अभयवर्धने को सूचित किया था कि वह बुधवार को इस्तीफा दे देंगे।

सबसे बड़ा आर्थिक संकट

श्रीलंका 1948 में ब्रिटेन से आजाद होने के बाद से सबसे खराब आर्थिक संकट से जूझ रहा है। देश में ईंधन, दवा और खाद्य सामग्री सहित आवश्यक चीजों की भारी कमी है, जिसकी वजह से देश की 2.2 करोड़ आबादी मुश्किलों का सामना कर रही है। देश में विदेशी मुद्रा की भी कमी है, जिस कारण वह कई महत्वपूर्ण चीजें नहीं खरीद पा रहा है। उल्लेखनीय है कि श्रीलंका में व्यापक स्तर पर सरकार विरोधी प्रदर्शनों के बाद राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे के बड़े भाई महिंदा राजपक्षे ने नौ मई को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था।

पड़ोसी देश में राष्ट्रपति

स्पीकर महिंदा यापा अभयवर्धने ने मीडिया को बताया कि राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे ने देश छोड़ दिया है। वह एक पड़ोसी देश में हैं। वह बुधवार तक देश लौट आएंगे। उन्होंने बताया कि सभी दलों के नेताओं ने राष्ट्रपति के इस्तीफे के बाद 15 जुलाई को संसद बुलाने का फैसला किया। उन्होंने बताया कि सांसदों नेअंतरिम सर्वदलीय सरकार के लिए संसद की आर्थिक समिति के सामने एक योजना पेश की, जो 8 जुलाई को हुई चर्चाओं पर आधारित थी।

विपक्ष ने राष्ट्रपति और पीएम पर साधा निशाना

विपक्ष के नेता सांसद साजिथ प्रेमदासा ने राष्ट्रपति गोटबाया राजपक्षे और प्रधानमंत्री रानिल विक्रमसिंघे पर जमकर हमला बोला। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि राष्ट्रपति, पीएम और पोहोट्टुवा सरकार ने अपनी वैधता खो दी है। पिछले ढाई साल में उन्होंने हमारे देश को तबाह कर दिया है। हम नए राष्ट्रपति और नए पीएम के साथ नई सरकार बनाएंगे। उन्होंने कहा कि अगर कोई इस प्रक्रिया का विरोध करता है तो वह आगे होने वाली अराजकता के लिए जिम्मेदार होगा।

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