मुंबई। रुपया सोमवार को रिकॉर्ड स्तर पर लुढ़ककर डॉलर के मुकाबले 77.50 तक पहुंच गया। इससे पहला भारतीय मुद्रा का डॉलर के मुकाबले सबसे कमजोर स्तर 77.05 रुपया था। रुपया सोमवार को 60 पैसा गिरने के साथ इस निचले स्तर तक पहुंचा। रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर अनिश्चितता और अमेरिका समेत तमाम देशों में ब्याज दरों में बढ़ोतरी के रुख के बीच रुपए में यह ऐतिहासिक गिरावट देखी जा रही है। एक दिन पहले रुपया 76.90 पर बंद हुआ था। विदेशी कोषों की बिकवाली जारी रहने और विदेशी बाजारों में अमेरिकी मुद्रा डॉलर की मजबूती के चलते भारतीय मुद्रा रुपया सोमवार को शुरुआती कारोबार में अमेरिकी मुद्रा के मुकाबले 52 पैसे की गिरावट के साथ सर्वकालिक निचले स्तर 77.42 पर आ गया।
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मुद्रास्फीति को लेकर बढ़ी चिंता
विदेशी मुद्रा कारोबारियों ने कहा कि मुद्रास्फीति को लेकर बढ़ी चिंताओं के कारण निवेशक जोखिम नहीं लेना चाहते हैं। इस बीच छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 0.35 प्रतिशत की बढ़त के साथ 104.02 पर पहुंच गया।
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सरकार ने रुपया को ‘आईसीयू’ में पहुंचाया
इधर, कांग्रेस ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि सरकार ने अपनी नीतिगत पंगुता, धार्मिक टकराव और भ्रष्टाचार से अर्थव्यवस्था पर बुलडोजर चला दिया है तथा रुपया को ‘आईसीयू’ में पहुंचा दिया है। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने फेसबुक पोस्ट में कहा, ‘‘डॉलर के मुकाबले रुपये की कीमत 77.4 रुपये के अपने न्यूनतम स्तर पर पहुंच गई है। प्रधानमंत्री पहले ही पेट्रोल और डीजल के दाम 100 रुपए से अधिक तथा एलपीजी के दाम 1000 रुपये से अधिक करने का लक्ष्य हासिल कर चुके हैं। अब रुपये के 100 की तरफ बढ़ने की बारी है।
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