देश में मौसम के दो रंग
नई दिल्ली। उत्तर भारत के लोग एक तरफ जहां भीषण गर्मी से परेशान हैं, वहीं कर्नाटक में भारी बारिश हुई है। बेंगलुरु में 2 जून को 111 मिलीमीटर बारिश हुई, जिससे जून में एक दिन में सबसे अधिक बारिश का 133 साल पुराना रिकॉर्ड टूट गया। मौसम विभाग के अधिकारियों ने सोमवार को यह जानकारी दी। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग बेंगलुरु के वैज्ञानिक एन. पुवियारसन ने पुष्टि की कि दो जून को पिछले 133 वर्षों में इस महीने में एक दिन की सबसे अधिक बारिश हुई। उन्होंने कहा कि अकेले 1 जून और 2 जून को हुई 140.7 मिलीमीटर वर्षा जून के मासिक औसत से अधिक थी। बंगालवेदरमेन नाम के एक्स यूजर ने पोस्ट में कहा कि आईएमडी के अनुसार, दो जून को एक दिन में 111 मिमी बारिश दर्ज की गई जो जून महीने के औसत 110.3 मिमी से अधिक है। जून में सबसे अधिक एक दिन की बारिश 16 जून, 1891 को दर्ज की गई थी।
भारी बारिश के कारण बेंगलुरु में कई स्थानों पर जनजीवन प्रभावित हुआ। जयनगर के निवासियों ने गिरे हुए पेड़ों की तस्वीरें सोशल मीडिया पर साझा कीं। रविवार रात ट्रिनिटी मेट्रो स्टेशन के पास मेट्रो ट्रैक पर एक पेड़ गिर गया, जिससे सेवा प्रभावित हुई। गिरे हुए पेड़ों के अलावा सड़कों पर जलभराव से लोगों को असुविधा हुई। आईएमडी केंद्र, बेंगलुरु के प्रमुख सी.एस. पाटिल ने कहा कि दक्षिण-पश्चिमी मानसून कर्नाटक में आगे बढ़ गया है और 5 जून तक कुछ जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया गया है।
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अगले 2 दिन में भारी वर्षा होने की संभावना
सीएल पाटिल ने कहा कि तटीय कर्नाटक में दक्षिण कन्नड़, उडुपी और उत्तर कन्नड़, उत्तरी कर्नाटक में बागलकोट, बेलगावी, धारवाड़, गडग, हावेरी, कोप्पल, विजयपुरा और दक्षिण कर्नाटक में बल्लारी, बेंगलुरु (ग्रामीण व शहरी), दावणगेरे, चित्रदुर्ग, हासन, मैसूर, तुमकुरु में अगले 2 दिन में भारी वर्षा होने की संभावना है। इस बीच, उपमुख्यमंत्री डी.के. शिवकुमार ने कहा कि वह जल्द ही वर्षा प्रभावित इलाकों का दौरा कर हालात का जायजा लेंगे। उन्होंने विधान सौध में पत्रकारों से बातचीत में कहा, हम विधान परिषद चुनावों के बाद अधिकारियों की बैठक करेंगे और बारिश से संबंधित मुद्दों का समाधान करेंगे।
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