- कावेरी जल विवाद : कर्नाटक बंद का दिखा व्यापक असर
- तमिलनाडु को कावेरी का पानी छोड़े जाने का किया जा रहा है विरोध
-पक्ष-विपक्ष, फिल्म स्टार्स सभी ने दिया बंद को समर्थन
बेंगलुरु। तमिलनाडु को कावेरी का पानी छोड़े जाने के विरोध में शुक्रवार को कर्नाटक बंद किया गया। कन्नड़ और किसान संगठनों के प्रमुख कन्नड़ ओक्कूटा संघ ने सुबह 6 बजे से शाम 6 बजे तक यानी 12 घंटे का बंद बुलाया था। बंद का व्यापक असर दिखा। बेंगलुरु और मांड्या में प्रशासन ने स्कूल-कॉलेज में छुट्टी का ऐलान किया है। केम्पेगौड़ा इंटरनेशनल एयरपोर्ट के पीआरओ के मुताबिक, बेंगलुरु आने-जाने वाली 44 फ्लाइट्स कैंसिल कर दी गई हैं। कुछ ट्रेनों के रूट पर भी असर पड़ा है। पुलिस ने अब तक 50 प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया है। विपक्षी बीजेपी, जनता दल सेक्यूलर और कन्नड़ फिल्म जगत की हस्तियों ने भी बंद के समर्थन में राज्य के विभिन्न जिलों में प्रदर्शन किया। कर्नाटक पुलिस ने अब तक 50 से ज्यादा प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया है। इससे पहले 26 सितंबर को बेंगलुरु बंद के दिन 200 से ज्यादा लोगों की गिरफ्तारी हुई थी।

बेंगलुरु के केम्पेगौड़ा इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर शुक्रवार सुबह उड़ान भरने और उतरने वाली 44 उड़ानें रद्द कर दी गई हैं। इनमें से 22 अराइवल और 22 डिपार्चर वाली फ्लाइट थीं। एयरपोर्ट के अधिकारियों ने कहा है कि ये ऑपरेशनल कारणों से हुआ. यात्रियों को इसकी समय रहते जानकारी दे दी गई थी। हालांकि, सूत्रों ने कहा कि कर्नाटक बंद के कारण फ्लाइट कैंसिल हुईं, क्योंकि कई यात्रियों ने अपने टिकट कैंसिल कर दिए थे।
कई इलाकों में धारा 144 लागू
प्रदर्शनकारियों ने हाईवे, टोल गेट्स, रेल सेवाएं बंद कराने की कोशिश की। कर्नाटक बंद के कारण जरूरी चीजों की दुकानों को छोड़कर सभी दुकानें, शॉपिंग मॉल, मूवी थिएटर्स, होटल और रेस्त्रां बंद हैं। मेट्रो-बस सर्विस चल रही है, लेकिन विरोध-प्रदर्शन के चलते भीड़ कम है। कर्नाटक बंद के दौरान कई जगहों पर विरोध-प्रदर्शन हुए हैं। बेंगलुरु अर्बन, मांड्या, मैसूर, चामराजनगर, रामानगर और हसन में धारा 144 लागू की गई है।
चिक्कमंगलूर में फूंका स्टालिन का पुतला
चिक्कमंगलूर में बाइकसवार प्रदर्शनकारियों ने पेट्रोल पंपों में घुसकर विरोध प्रदर्शन किया। उन्होंने तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन का पुतला भी जलाया। बेंगलुरु में प्रदर्शनकारियों को हिरासत में लिया गया और फ्रीडम पार्क लाया गया। मांड्या में प्रदर्शनकारी विरोध स्वरूप सड़कों पर उतर आए। 1900 से ज्यादा एसोसिएशन कर्नाटक बंद का समर्थन कर रहे हैं।
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सीएम सिद्धारमैया सीडब्लूआरसी से निराश
कावेरी नियामक समिति (सीडब्लूआरसी) द्वारा तमिलनाडु को 3000 क्यूसेक पानी छोड़ने के आदेश के बाद किसान संघों और कन्नड़ समर्थक संगठनों ने आज कर्नाटक बंद का आह्वान किया है। इस दौरान कई प्रदर्शनकारी यह नारे लगाते दिखें कि कावेरी नदी उनकी है। वहीं, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने सीडब्लूआरसी की सिफारिश पर निराशा व्यक्त की।
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ये है विवाद
कर्नाटक और तमिलनाडु के बीच कावेरी नदी से जुड़ा यह विवाद 140 साल पुराना है। 13 सितंबर को कावेरी वाटर मैनेजमेंट अथॉरिटी (सीडब्लूएमए) ने एक आदेश जारी किया था। इसमें कहा गया कि कर्नाटक अगले 15 दिन तक तमिलनाडु को कावेरी नदी से 5 हजार क्यूसेक पानी दे। कर्नाटक के किसान संगठन, कन्नड़ संस्थाएं और विपक्षी पार्टियां इसी फैसले का विरोध कर रही हैं।
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