— तीन राज्यों में विस चुनाव के नतीजे, पूर्वोत्तर में खिला कमल
राज्य- सीटें- बहुमत- सबसे बड़ी पार्टी
त्रिपुरा- 60 -31—भाजपा+33
नागालैंड-60-31–भाजपा+37
मेघालय-59-30—एनपीपी+25
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नई दिल्ली। पूर्वोत्तर के तीन राज्यों में विधानसभा चुनाव के नतीजे आ गए। त्रिपुरा-नगालैंड में भाजपा गठबंधन की सरकार बनना तय है। दोनों ही राज्यों में बहुमत हासिल हो गया। मेघालय में त्रिशंकु विधानसभा है, जहां पर किसी भी पार्टी को बहुमत नहीं मिला है। मेघालय में मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा की नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) सबसे बड़ी पार्टी बन गई है। ऐसे में सीएम संगमा ने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह को फोन कर समर्थन मांगा है। भाजपा-आईपीएफटी गठबंधन ने 60 सदस्यीय त्रिपुरा विधानसभा में 33 सीटें जीतकर इस पूर्वोत्तर राज्य में लगातार दूसरी बार सत्ता में वापसी की है। निर्वाचन आयोग की वेबसाइट के मुताबिक, भाजपा को 30 सीटें मिली हैं जबकि इंडिजिनस पीपुल्स फ्रंट ऑफ त्रिपुरा’ (आईपीएफटी) को एक सीट पर जीत मिली है। वहीं, भाजपा दो और सीटों पर बढ़त बनाए हुए है। इस बीच, निवर्तमान मुख्यमंत्री माणिक साहा ने कहा, भाजपा की जीत अपेक्षित थी। हम इसकी व्यग्रता से प्रतीक्षा कर रहे थे। निर्णायक जनादेश के साथ हमारी जिम्मेदारी और बढ़ गई है। साहा ने टाउन बोरदोवाली सीट से अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस उम्मीदवार आशीष कुमार साहा को 1,257 मतों के अंतर से हराया। नगालैंड में भाजपा गठबंधन को 37 और त्रिपुरा में 33 सीटें मिली हैं। मेघालय में मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा की एनपीपी सबसे बड़ी पार्टी बन गई है। एनपीपी के खाते में अभी 25 सीटें आ रही हैं।
पीएम मोदी ने विकास व स्थिरता के लिए वोट बताया
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने त्रिपुरा विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी की जीत पर पूर्वोत्तर के इस राज्य की जनता के प्रति आभार जताया। उन्होंने कहा कि उनका वोट विकास और स्थिरता के लिए है। उन्होंने नगालैंड में नेशनलिस्ट डेमोक्रेटिक प्रोग्रेसिव पार्टी-भाजपा गठबंधन को बहुमत मिलने के लिए भी राज्य की जनता को बधाई दी और कहा कि ‘डबल इंजन’ की सरकार राज्य की प्रगति के लिए काम करती रहेगी। प्रधानमंत्री ने मेघालय में भाजपा का समर्थन करने वाले सभी लोगों के प्रति आभार जताते हुए कहा कि इस राज्य को विकास के पथ पर आगे बढ़ाने के लिए पार्टी कड़ी मेहनत करती रहेगी।
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पूर्वोत्तर से कांग्रेस को मिली मायूसी
मुश्किल दौर से गुजर रही कांग्रेस की हार का सिलिसला थमने का नाम नहीं ले रहा है। अब उसे पूर्वोत्तर के तीन राज्यों के विधानसभा चुनाव में निराशा मिली है, हालांकि कुछ जगहों के उपचुनावों में जीत उसको थोड़ा सुकून देने वाली है। देश की मुख्य विपक्षी दल को त्रिपुरा में वाम दलों के साथ मिलकर चुनाव लड़ने का प्रयोग भी विफल रहा। उसने ऐसा ही प्रयोग वर्ष 2021 के पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव में भी किया था जहां उसका खाता भी नहीं खुल पाया था। पूर्वोत्तर में कांग्रेस को चुनावी सफलता की उम्मीदों को उस समय झटका लगा है जब कुछ सप्ताह पहले ही कांग्रेस की ‘भारत जोड़ो यात्रा’ पूरी हुई और कुछ दिनों पहले उसका 85वां महाधिवेशन आयोजित हुआ था।
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5 राज्यों में उपचुनाव, कांग्रेस को तीन सीटें
पांच राज्यों में हुए उपचुनावों के नतीजे गुरुवार को घोषित कर दिए गए। महाराष्ट्र की कस्बापेठ सीट पर कांग्रेस के रवींद्र धंगेकर ने जीत हासिल की है। चिंचवाड़ सीट पर भाजपा की अश्विनी जगताप ने जीत दर्ज की है। उधर, बंगाल में कांग्रेस का खाता खुल गया है। बेरॉन बिस्वास सागरदीघी सीट पर जीत गए हैं। तमिलनाडु में भी कांग्रेस के इवीकेएस एलंगोवन जीत गए हैं। अरुणाचल प्रदेश में भाजपा की त्सेरिंग ल्हामू निर्विरोध विधायक चुनी गई हैं। झारखंड की रामगढ़ सीट पर एजेएसयू की सुनीता चौधरी जीत गई हैं। उन्हें भाजपा का भी समर्थन था।
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त्रिपुरा-60 सीटें
भाजपा-गठबंधन–33
कांग्रेस–3
अन्य–24
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नागालैंड-60सीटें
भाजपा-गठबंधन-37
कांग्रेस-0
अन्य-23
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मेघालय-59सीटें
एनपीपी-25
भाजपा-3
कांग्रेस-4
अन्य-27
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