-एशिया की सबसे बड़ी हैलीकॉप्टर फैक्ट्री का किया उद्घाटन
- लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट इस फैक्ट्री में फिलहाल किए जाएंगे तैयार
बेंगलुरू। पीएम नरेंद्र मोदी ने सोमवार को कर्नाटक के तुमकुरु में सरकारी हथियार कंपनी हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल) की हैलीकॉप्टर फैक्ट्री का उद्घाटन किया। यहां प्रचंड, रुद्र और ध्रुव जैसे लड़ाकू विमान तैयार किए जाएंगे, जो आसमान में दुश्मन को कड़ी टक्कर देंगे। 615 एकड़ में बनी इस फैक्ट्री में शुरुआती दिनों में 30 हेलिकॉप्टर बनेंगे, जिनकी संख्या बाद में बढ़कर 60 से 90 तक की जाएगी। लाइट कॉम्बैट एयरक्राफ्ट यहां तैयार होने हैं, जिनकी उपयोगिता काफी बढ़ गई। थल सेना से लेकर वायुसेना तक ने शुरुआती ऑर्डर हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड को दिए हैं और उन हेलिकॉप्टरों को यहीं तैयार किया जाएगा।
फैक्ट्री के उद्घाटन के मौके पर पीएम नरेंद्र मोदी ने एक तरफ हथिय़ारों के निर्माण में अपनी सरकार के योगदान का जिक्र किया तो वहीं विपक्षियों पर हमला भी बोला। उन्होंने कहा कि हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड का नाम लेकर हम पर निशाना साधा गया, लेकिन अब साबित हो गया कि हमने किस तरह से इस कंपनी को आगे बढ़ाया है। पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘बीते 8 सालों में एक तरफ हमने सरकारी डिफेंस कंपनियों को ताकतवर बनाया तो वहीं दूसरी तरफ प्राइवेट सेक्टर के लिए भी दरवाजे खोले। इससे कितना लाभ हुआ, इसे हम हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड में देख सकते हैं। मैं यहां कुछ साल पहले की बातें याद दिलाना चाहूंगा, जिस पर मीडिया वालों का जरूर ध्यान जाएगा।’
तरह-तरह के लगाए गए हम पर आरोप
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘ यही एचएएल है, जिसे बहाना बनाकर हमारी सरकार पर तरह-तरह के झूठे आरोप लगाए गए। यही एचएएल है, जिसका नाम लेकर लोगों को भड़काने की साजिश रची गई और उन्हें उकसाया गया। संसद के कई घंटे बर्बाद कर दिए गए। लेकिन झूठ कितना ही बड़ा क्यों न हो और कितनी ही बार बोला जाता हो, एक न एक दिन उसकी सच के सामने हार होती ही है।’ प्रचंड और ध्रुव जैसे हेलिकॉप्टर 600 किलोमीटर तक उड़ान भर सकते हैं। इसके अलावा इनकी गति भी करीब 300 किमी प्रति घंटा है। सियाचीन जैसे ऊंचाई वाले इलाकों से लेकर एलओसी और एलएसी जैसे सीमांत इलाकों में इनके जरिए दुश्मन पर नजर रखना और उनका मुकाबला करना आसान हो सकेगा।
615 एकड़ में फैली है फैक्ट्री
फैक्ट्री 615 एकड़ में फैली हुई है। पीएम मोदी ने 2016 में इसकी नींव रखी थी। शुरुआत में यहां लाइट यूटिलिटी हेलिकॉप्टर (एलयूएच) बनाए जाएंगे। अधिकारियों ने बताया कि यह भारत को बिना आयात के फैक्ट्री हेलिकॉप्टरों की जरूरतों को पूरा करने में सक्षम है। यह एशिया की सबसे बड़ी हेलिकॉप्टर फैक्ट्री है। यहां 20 साल में 1000 से अधिक हेलिकॉप्टर बनेंगे।
रक्षा मंत्री ने भी दिया संबोधन
इस कार्यक्रम में अपने संबोधन में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने रक्षा क्षेत्र में भारत की आत्मनिर्भरता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में भारत भूमि विश्व के लिए डिफेंस मैन्युफैक्चरिंग का केंद्र होगी। इसकी शुरूआत हो चुकी है, आज का ये समारोह इसका एक बड़ा प्रमाण है। ये रक्षा क्षेत्र में भारत की आत्म निर्भरता की यात्रा में एक मील का पत्थर है।

