हिंडनबर्ग की रिसर्च रिपोर्ट के बाद शेयरों में तेज गिरावट
2.5 अरब डॉलर का है अडानी एंटरप्राइजेज का एफपीओ
नई दिल्ली। अरबपति कारोबारी गौतम अडानी की अगुवाई वाले समूह ने अपनी एक कंपनी की 2.5 अरब डॉलर की फॉलो-अप पब्लिक ऑफरिंग (एफपीओ) की निर्धारित कीमतों या क्लोजिंग डेट में किसी तरह के बदलाव की संभावना से इनकार किया है। अमेरिकी वित्तीय शोध कंपनी हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट आने के बाद अडानी एंटरप्राइजेज समेत समूह की सभी कंपनियों के शेयरों में बड़ी गिरावट दर्ज की गई है।
समूह के प्रवक्ता ने कहा, अडानी एंटरप्राइजेज लिमिटेड का एफपीओ निर्धारित समय और तय प्राइस रेंज के अनुसार चल रहा है। ऑफर प्राइज में कोई बदलाव नहीं हुआ है। प्रवक्ता ने कहा, बैंकरों और निवेशकों सहित हमारे सभी हितधारकों को एफपीओ पर पूरा भरोसा है। हम एफपीओ की सफलता को लेकर बेहद आश्वस्त हैं। अडाणी समूह ने कहा कि हिंडनबर्ग की रिपोर्ट दुर्भावनापूर्ण और फर्जी है और उसके एफपीओ को नाकाम करने के इरादे से लाई गई है। अडाणी समूह की प्रमुख कंपनी अडाणी एंटरप्राइजेज के एफपीओ को शुक्रवार को आवेदन के पहले दिन केवल एक प्रतिशत अभिदान मिला था। यह एफपीओ 31 जनवरी को बंद होगा।
एफपीओ की मौजूदा स्थिति
बीएसई पर उपलब्ध सूचना के अनुसार, अडानी एंटरप्राइजेज लि. के एफपीओ के पहले दिन 4.55 करोड़ शेयर के बदले केवल 4.7 लाख शेयरों के लिए ही बोली आई. कंपनी ने एफपीओ के लिए कीमत दायरा 3,112 से 3,276 रुपए प्रति शेयर रखा हुआ है। हालांकि, शुक्रवार को इसका शेयर बीएसई में 2,762.15 रुपये के भाव पर बंद हुआ। खुदरा निवेशकों ने चार लाख शेयरों के लिए आवेदन किए जबकि उनके लिए 2.29 करोड़ शेयर आरक्षित हैं। वहीं, क्यूआईबी की श्रेणी में 1.28 करोड़ शेयर के मुकाबले केवल 2,656 शेयर के लिये बोली आई। गैर-संस्थागत निवेशकों ने 60,456 शेयर के लिये बोली लगायी जबकि पेशकश 96.16 लाख शेयर की है। एफपीओ खुलने के पहले अडाणी एंटरप्राइजेज ने एंकर यानी बड़े निवेशकों से 5,985 करोड़ रुपए जुटाए थे।
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एफपीओ के शेड्यूल में बदलाव की तैयारी
एक खबर के अनुसार, बैंकर्स एफपीओ की क्लोजिंग डेट को आगे बढ़ाने पर विचार कर रहे हैं। इसके साथ ही एफपीओ के प्राइस में 10 फीसदी तक की कटौती भी की जा सकती है। खबर के मुताबिक, 30 जनवरी को इस फैसला लिया जा सकता है।
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