कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव… दिग्गी-थरूर आमने-सामने

——कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव को लेकर अंदरूनी उठापटक



नई दिल्ली। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने गुरुवार को पार्टी अध्यक्ष पद के चुनाव का नामांकन पत्र लिया। उन्होंने कहा कि वह संभवतः शुक्रवार को नामांकन दाखिल करेंगे। पार्टी के केंद्रीय चुनाव प्राधिकरण के कार्यालय से नामांकन पत्र लेने के बाद सिंह ने कहा, नामांकन पत्र लेने आया हूं। संभवतः कल भरूंगा। उन्होंने 10 नामांकन फॉर्म लिए। सिंह ऐसे समय नामांकन पत्र भरने की तैयारी कर रहे हैं जब राजस्थान संकट के कारण मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के चुनाव लड़ने की संभावना पर प्रशचिन्ह लग गया है। इधर, मध्य प्रदेश से कांग्रेस के 10 से अधिक विधायक कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह के कांग्रेस अध्यक्ष पद के चुनाव के नामांकन दाखिल करने के दौरान प्रस्तावक बनने के लिए नयी दिल्ली पहुंचेगे। कांग्रेस की ‘भारत जोड़ो यात्रा’ को छोड़कर सिंह बुधवार देर रात दिल्ली पहुंचे और पार्टी अध्यक्ष पद के चुनाव के लिए बृहस्पतिवार को नामांकन पत्र हासिल किया। उनके शुक्रवार को नामांकन पत्र दाखिल करने की उम्मीद है। मध्य प्रदेश विधानसभा में विपक्ष के नेता डॉ गोविंद सिंह उन विधायकों में शामिल है जो नयी दिल्ली का दौरा करेंगे। पार्टी अध्यक्ष के रूप में दिग्विजय सिंह की उम्मीदवारी का प्रस्तावक बनने के लिए क्या वह 10 अन्य विधायकों के साथ दिल्ली जा रहे हैं, इस सवाल पर गोविंद सिंह ने कहा, केवल 10 नहीं, अधिक विधायक जा रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘मैं ग्वालियर होकर जाऊंगा क्योंकि वहां मेरा एक कार्यक्रम है।

सोनिया से गहलोत ने मांगी माफी

राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जयपुर में कांग्रेस विधायक दल की बैठक नहीं हो पाने और संबंधित घटनाक्रम के लिए गुरुवार को पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से माफी मांगी। उन्होंने कहा कि वह अब अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं लड़ेंगे। सोनिया गांधी के आवास ‘10 जनपथ’ पर उनसे मुलाकात के बाद गहलोत ने यह भी कहा कि उनके मुख्यमंत्री पद पर बने रहने के बारे में फैसला सोनिया गांधी करेंगी।

दिग्गी बोले-हर सदस्य को चुनाव लड़ने का अधिकार

इधर, एक चैनल से बातचीत में दिग्विजय सिंह ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि बिना नेहरू-गांधी परिवार के कांग्रेस शून्य है। दिग्विजय से सवाल पूछा गया था कि पार्टी के चुनाव और अन्य निर्णयों में अभी भी गांधी परिवार का दखल रहता है। इसी सवाल पर दिग्विजय ने जवाब दिया है। दिग्विजय सिंह का कहना था कि पीसीसी डेलीगेट्स के हर सदस्य को कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ने का अधिकार है। पार्टी ने सभी को आगे आने का मौका दिया है। मैं हमेशा से कहता रहा हूं कि 30 तारीख का इंतजार करिए।

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अध्यक्ष पद की रेस से गहलोत आउट, सीएम पद पर भी संशय, सोनिया से मिले पायलट

00 सोनिया गांधी से गहलोत ने की मुलाकात

00 वेणुगोपाल बोले- राजस्थान पर एक दो दिन में फैसला


राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने गुरुवार को ऐलान किया कि वह अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं लड़ेंगे। उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के साथ बैठक के बाद कहा कि वे राजस्थान में हुए घटनाक्रम से दुखी हैं। गहलोत के सीएम पद को लेकर भी संशय है। इधर, अध्यक्ष पद के लिए मप्र के पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह और शशि थरूर के बीच मुकाबला होने की संभावना है।


नई दिल्ली। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जयपुर में कांग्रेस विधायक दल की बैठक नहीं हो पाने और संबंधित घटनाक्रम के लिए गुरुवार को पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी से माफी मांगी। उन्होंने कहा कि वह अब अध्यक्ष पद का चुनाव नहीं लड़ेंगे। सोनिया गांधी के आवास ‘10 जनपथ’ पर उनसे मुलाकात के बाद गहलोत ने यह भी कहा कि उनके मुख्यमंत्री पद पर बने रहने के बारे में फैसला सोनिया गांधी करेंगी। पार्टी की राजस्थान इकाई में संकट पैदा होने के बाद गहलोत पहली बार दिल्ली पहुंचे हैं। उन्होंने यहां संवाददाताओं से कहा, मैं पिछले 50 वर्षों से कांग्रेस का वफादार सिपाही रहा हूं, जो घटना दो दिन पहले हुई उसने हम सबको हिलाकर रख दिया। मुझे जो दुख है वो मैं ही जान सकता हूं। पूरे देश में यह संदेश चला गया कि मैं मुख्यमंत्री बने रहना चाहता हूं इसलिए यह सब हो रहा है। गहलोत ने कहा, दुर्भाग्य से ऐसी स्थिति बन गई कि प्रस्ताव पारित नहीं हो पाया। हमारी परंपरा है कि एक लाइन का प्रस्ताव पारित किया जाता है। दुर्भाग्य से ऐसी स्थिति बन गई कि प्रस्ताव पारित नहीं पाया। मैं मुख्यमंत्री हूं और विधायक दल का नेता हूं, यह प्रस्ताव पारित नहीं हो पाया। इस बात का दुख मुझे हमेशा रहेगा। मैंने सोनिया जी से माफी मांगी है। उन्होंने कहा, मैंने तय किया है कि इस माहौल के अंदर अब चुनाव नहीं लड़ूंगा। यह मेरा फैसला है।

गहलोत के अनुसार, राहुल गांधी यात्रा पर निकले हैं और वह शांति, सद्भाव और भाईचार का संदेश दे रहे हैं। उन्होंने कहा, मैंने राहुल जी से कहा था कि वह चुनाव लड़े। उन्होंने अस्वीकार कर दिया। फिर मैंने कहा था कि चुनाव लड़ूंगा। अब मैं चुनाव नहीं लड़ूंगा। उनके मुख्यमंत्री पद पर बने रहने से जुड़े सवाल पर गहलोत ने कहा कि इस बारे में फैसला सोनिया गांधी करेंगी। गहलोत के चुनावी दौड़ से बाहर होने के बाद अब पार्टी के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह इस चुनाव के लिए नामांकन पत्र दाखिल करने की तैयारी में हैं। सिंह ने बृहस्पतिवार को पार्टी अध्यक्ष पद के चुनाव का नामांकन पत्र लिया और कहा कि वह संभवतः शुक्रवार को नामांकन दाखिल करेंगे। लोकसभा सदस्य शशि थरूर 30 सितंबर को दोपहर में अध्यक्ष पद के चुनाव के लिए नामांकन दाखिल करेंगे।

नामांकन की आज अंतिम तिथि

कांग्रेस अध्यक्ष पद के चुनाव के लिए घोषित कार्यक्रम के अनुसार, अधिसूचना 22 सितंबर को जारी की गई और नामांकन पत्र दाखिल करने की प्रक्रिया 24 सितंबर से आरम्भ हुई, जो 30 सितंबर तक चलेगी। नामांकन पत्र वापस लेने की अंतिम तिथि आठ अक्टूबर है। एक से अधिक उम्मीदवार होने पर 17 अक्टूबर को मतदान होगा और परिणाम 19 अक्टूबर को घोषित किये जाएंगे।

गले मिलकर दिग्विजय और थरूर बोले- यह दोस्ताना मुकाबला

कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ने जा रहे सांसद शशि थरूर ने दूसरे संभावित उम्मीदवार दिग्विजय सिंह ने गुरुवार को मुलाकात की। दोनों ने इस बात पर सहमति जताई कि यह प्रतिद्वंद्वियों के बीच लड़ाई नहीं, बल्कि दो सहयोगियों के बीच दोस्ताना मुकाबला होगा। सिंह से मुलाकात की तस्वीर ट्विटर पर साझा करते हुए थरूर ने कहा कि इस चुनाव में कांग्रेस जीतेगी। उन्होंने ट्वीट किया, दिग्विजय सिंह आज दोपहर मिलने आए। मैंने उनकी उम्मीदवारी का स्वागत किया। हम दोनों ने सहमति जताई कि यह दो प्रतिद्वंद्वियों के बीच की लड़ाई नहीं है, बल्कि दो सहयोगियों के बीच का दोस्ताना मुकाबला है। हम सभी चाहते हैं जो भी नतीजा हो, कांग्रेस जीतेगी।

एक-दो दिन में राजस्थान पर फैसला

सीएम पद पर अशोक गहलोत बने रहेंगे या नहीं? इस पर कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने कहा कि राजस्थान के सीएम पर फैसला कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी एक-दो दिन में करेंगी। कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी कांग्रेस अध्यक्ष चुनाव को लेकर तटस्थ हैं। आइए कल का इंतजार करें, हमें एक स्पष्ट तस्वीर मिलेगी।

राठौड़ ने सचिन पायलट खेमे को घेरा

गहलोत के वफादार धर्मेंद्र राठौड़ ने सचिन पायलट खेमे के माने जाने वाले विधायक वेद प्रकाश सोलंकी पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि मैं यह साबित कर दूंगा कि कौन गद्दार है और कौन वफादार? यह सबके सामने आएगा। सोलंकी ने जिला परिषद चुनाव के दौरान भाजपा प्रदेश अध्यक्ष सतीश पूनियां से एक होटल में मुलाकात की थी।

भाजपा ने कसा तंज

भाजपा प्रवक्ता ने कांग्रेस में मची उठापटक को लेकर तंज कसा। उन्होंने कहा कि गुस्ताख-ए-गांधी की एक सजा, गहलोत अध्यक्षता से जुदा। उन्होंने ट्विटर पर लिखा, गांधी परिवार अगले कांग्रेस अध्यक्ष के रूप में रबर स्टैंप की तलाश में थे। स्पष्ट रूप से गहलोत इसमें फिट नहीं हो रहे थे। इसलिए वे चले गए! यह कांग्रेस अध्यक्ष की तलाश नहीं है, बल्कि रबर स्टैंप की तलाश है! यह एक फिक्स मैच है।

गहलोत का माफीनामा वायरल

सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि सोनिया गांधी से मिलने पहुंचे अशोक गहलोत अपने साथ एक खत ले गए थे। उसमें लिखा था कि मैंने कांग्रेस अध्यक्ष से लंबी बात की। मैं एक वफादार सैनिक के तौर पर 50 साल से कांग्रेस में हूं। सीएलपी की बैठक में जो कुछ भी हुआ, उसने मुझे झकझोर कर रख दिया है। मैंने सोनिया जी से माफी मांगी है। मैं आहत हूं।

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