छत्तीसगढ़ में डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग का होगा सृजन
सहायक आरक्षकों का डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स के आरक्षकों के पदों पर होगा संविलियन
सहायक आरक्षकों को नियमित आरक्षकों की भांति मिलेगा वेतनमान
सहायक आरक्षक के उपलब्ध 3096 पदों को समाप्त कर, डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग में आरक्षक के 3136 पद किए जाएंगे सृजित
कैबिनेट ने प्रदेश में स्वीकृत सहायक आरक्षकों के पद समाप्त कर डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग के सृजन के प्रस्ताव का किया अनुमोदन
रायपुर, 14 जुलाई 2022
मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में आज आयोजित कैबिनेट की बैठक में प्रदेश में कार्यरत सहायक आरक्षकों को बड़ी सौगात मिली। कैबिनेट की बैठक में प्रदेश में स्वीकृत सहायक आरक्षकों के पदों को समाप्त कर डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग के सृजन के प्रस्ताव का अनुमोदन किया गया। डाईंग कैडर के सहायक आरक्षकों का सृजित की जाने वाली डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग के आरक्षकों के पदों पर संविलियन होगा। कैबिनेट के इस निर्णय से सहायक आरक्षकों की वेतन विसंगति दूर होगी और उन्हें नियमित आरक्षकों की भांति वेतनमान मिलेगा। राज्य सरकार के इस निर्णय से राज्य में नक्सली उन्मूलन अभियान में सहयोग दे रहे सहायक आरक्षकों का मनोबल बढ़ेगा और राज्य में नक्सल विरोधी अभियान को गति मिलेगी।
कैबिनेट के निर्णय के अनुसार सहायक आरक्षक के उपलब्ध 3096 पदों को समाप्त कर उनके स्थान पर डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग निर्मित करते हुए 3736 नवीन पदों का सृजन किया जाएगा। इनमें से डिस्ट्रिक्ट स्ट्राईक फोर्स संवर्ग में आरक्षक के 3136 पद सृजित किए जाएंगे। इन पदों पर डाईंग कैडर में उपलब्ध सहायक आरक्षक ही संविलियन होंगे।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ राज्य के विभिन्न जिलों में कुल 3096 सहायक आरक्षक पदस्थ हैं, जो राज्य के घोर नक्सली परिक्षेत्र बस्तर के घने जंगलों के अलावा जिला गरियाबंद, बालोद, राजनांदगांव, कबीरधाम, महासमुन्द, धमतरी, सरगुजा, सूरजपुर, बलरामपुर, जशपुर और कोरिया में पुलिस के अन्य सशस्त्र बलों के साथ एक समान दायित्वों का निर्वहन कर रहे हैं तथा नक्सली उन्मूलन अभियान में सहयोग प्रदान कर रहे हैं।
प्रदेश में कार्यरत सहायक आरक्षकगण लगभग पुलिस विभाग के नियमित शासकीय सेवक आरक्षक संवर्ग के कर्मचारियों की भांति सेवायें दे रहे हैं, किन्तु राज्य के नियमित कर्मचारियों की भांति समान कार्य के बदले समान वेतनमान प्राप्त नहीं होने एवं अत्यंत ही कम वेतन प्राप्त होने से विसंगतिपूर्ण स्थिति उत्पन्न होती है। उपरोक्त परिस्थितियों को देखते हुए सहायक आरक्षकों के वेतन संबंधी व्याप्त विसंगति को दूर करने तथा प्रदेश के समस्त सहायक आरक्षकों को नियमित आरक्षकांे की भांति वेतनमान मिल सकेगा।


 
                                                    
                                                                                                 
                                                    
                                                                                                 
                                                    
                                                                                                 
                                                    
                                                                                                