नूंह हिंसा के हमलावर रोहिंग्या बस्ती पर चला बुलडोजर, राजस्थान से जुड़े तार

आरोपियों ने किया खुलासा : साजिश के तहत भीड़ में हुए शामिल, हिंसा कर छुपा दिए हथियार, गिरफ्तारियां जारी

नई दिल्ली। हरियाणा के मेवात-नूंह में हुए दंगों की शुरुआती जांच के बाद पाया कि हिंसा में रोहिंग्याओं और अवैध घुसपैठियों का हाथ है इस पर एक्शन लेते हुए इन घुसपैठियों के अवैध कब्जे पर बुलडोजर चलाकर पूरी बस्ती को जमींदोज कर दिया। इस मामले के तार राजस्थान से भी जुड़ रहे हैं वहां से भी कई आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। हिंसा वाले दिन छुट्टी पर रहने वाले नूंह एसपी को तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है। नूंह हिंसा में अभी तक दो होमगार्ड समेत 7 लोगों की मौत हुई है।

बताया जा रहा है कि इन इन झुग्गियों में बांग्लादेश के काफी लोग अवैध तरीके से रह रहे हैं। इनमें से कई लोग हिंसा में शामिल थे। रोहिंग्याओं ने हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण की जमीन पर अवैध कब्जा किया हुआ था। पुलिस ने बुलडोजर से 200 से अधिक झुग्गियां को गिरा दिया। बुलडोजर का एक्शन करीब 4 घंटे तक चला।

भीड़ में शामिल रहे दंगाई, हिंसा कर छुप गए

पुलिस को अभी तक की जांच में पता चला है कि हिंसा प्लानिंग के तहत की गई थी। ज्यादातर गिरफ्तार आरोपियों की उम्र 19 से 25 साल बताई जा रही है। गिरफ्तार आरोपियों ने पूछताछ में खुलासा किया है कि उन्होंने भीड़ में शामिल होकर हथियारों, ईंट, पत्थर, लाठी और डंडों से हमला किया था। हिंसा को अंजाम देने के बाद आरोपियों ने अपने हथियार, लाठी-डंडे भी छिपा दिए थे। ये सभी लोग घटना के बाद पहाड़ियों पर छिप गए थे तथा वहां से राजस्थान, यूपी भाग गए थे।

हिंसा के बाद भागने का प्लान रेडी था

पुलिस सूत्रों के मुताबिक आरोपियों ने खुलासा किया कि हिंसा भड़काने के बाद उनका एग्जिट प्लान भी रेडी था। उन्हें पहले से पता था कि उन्हें कहां छुपना है और उसके बाद कहां भागना है। इसी वजह से जब हर तरफ हिंसा भड़क गई और दूसरे लोग इसमें शामिल हो गए तो वे मेवात की पहाड़ियों में छुप गए थे। ये अरावली की पहाड़ियां राजस्थान की सीमा से लगती हुई हैं। कुछ आरोपी राजस्थान तो कुछ यूपी व अन्य शहरों में भाग गए। पुलिस हिंसा में शामिल आरोपियों को पकड़ने के लिए छापेमारी कर रही है।

नासिर–जुनैद के इलाके के लोग भी हिंसा में शामिल

बता दें कि नासिर- जुनैद राजस्थान भरतपुर के पहाड़ी थाना क्षेत्र के घाटमिका गांव के रहने वाले थे। इनको इसी साल फरवरी महीने में भिवानी के लोहारू में एक गाड़ी के अंदर कथित रूप से जिंदा जला दिया गया था। हत्या का आरोप हरियाणा के गोरक्षकों पर लगा था जिसमें सबसे मुख्य नाम मोनू मानेसर का है। जानकारी मिली है कि राजस्थान से गिरफ्तार 4 आरोपी तो भरतपुर के उसी क्षेत्र के हैं, जहां के नासिर-जुनैद रहने वाले थे।

छुट्टी पर रहे एसपी को हटाया गया

हरियाणा सरकार ने गुरुवार देर रात हिंसा प्रभावित नूंह जिले के पुलिस अधीक्षक वरुण सिंघला का ट्रांसफर कर दिया। वह हिंसा के दिन छुट्‌टी पर थे। उन्हें अब भिवानी जिले का चार्ज दिया गया है। उनकी जगह पर एसपी नरेंद्र बिजारणिया को नूंह का जिम्मा दिया गया है।

सीएम ने कहा- सुनियोजित-षडयंत्रपूर्ण तरीका

हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्‌टर ने कहा कि एक सामाजिक यात्रा, जो हर वर्ष निकलती है, उस पर कुछ लोगों ने आक्रमण किया। पुलिस को भी निशाना बनाया गया। सुनियोजित और षडयंत्रपूर्ण तरीके से यात्रा को भंग किया गया, जो बड़ी साजिश की तरफ इशारा करती है। पुलिस पर भी आक्रमण किया गया और यात्रा को भंग करने का प्रयास किया गया।

गृहमंत्री विज ने कहा- इसका कोई मास्टरमाइंड

हरियाणा के गृहमंत्री अनिल विज ने कहा कि एकदम से फायरिंग, लाठी-पत्थर नहीं आ सकते। ये सब एक साजिश है। जिसका कोई न कोई मास्टरमाइंड है। हम जांच करेंगे और ऐसे मास्टरमाइंड को बेनकाब करेंगे। उसे पकड़कर कड़ी कानूनी कार्रवाई की जाएगी।

31 जुलाई को हुई थी हिंसा

नूंह शहर में 31 जुलाई को नलहेश्वर मंदिर से ब्रजमंडल यात्रा निकली थी। यात्रा जब तिरंगा पार्क के पास पहुंची तो उस पर पथराव हो गया था। यहां से शुरू हुआ बवाल धीरे-धीरे पूरे शहर में फैल गया। हिंसा की आग में नूंह तो पूरी तरह झुलसा ही साथ ही आसपास के जिले भी इसकी चपेट में आ गए। गुरुग्राम, पलवल, फरीदाबाद और रेवाड़ी जिले में भी घटनाएं हुई। हिंसा में अभी तक 7 लोगों की मौत हो चुकी है। 100 से ज्यादा लोग घायल हो चुके है।

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