दिल्ली-एनसीआर में निर्माण व ध्वस्तीकरण कार्यों पर रोक

-दिल्ली-एनसीआर में गंभीर श्रेणी में पहुंचा प्रदूषण, लागू हुईं ग्रैप तीन की पाबंदियां

नई दिल्ली। राजधानी में शुक्रवार को प्रदूषण बेहद गंभीर श्रेणी में चला गया। हालात बिगड़ता देख वायु गुणवत्ता आयोग की तरफ से इसे लेकर एक आपात बैठक की गई जिसमें ग्रैप के तीसरे चरण को दिल्ली-एनसीआर के लिए लागू कर दिया गया है। इसके चलते दिल्ली-एनसीआर में अगले आदेश तक निर्माण व ध्वस्तीकरण कार्यों पर रोक रहेगी। अगले तीन दिनों तक दिल्ली में प्रदूषण गंभीर या बेहद खराब श्रेणी के ऊपरी हिस्से में रहने का अनुमान है। जानकारी के अनुसार दिल्ली एनसीआर में बीते 13 दिनों से वायु प्रदूषण बेहद खराब श्रेणी में था।

गंभीर श्रेणी में पहुंचा एक्यूआई

इसमें कई बार उतार-चढ़ाव हुए लेकिन इस दौरान श्रेणी में किसी प्रकार का बदलाव नहीं हुआ। शुक्रवार शाम दिल्ली में यह गंभीर श्रेणी में पहुंच गया है। शुक्रवार सुबह जहां दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक 380 रहा तो वहीं शाम के समय दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक 400 दर्ज किया गया है। सफर के मुताबिक दिल्ली में सतही हवा की धीमी रफ्तार, उत्तर-पश्चिम दिशा से आ रही हवा, न्यूनतम तापमान एवं कोहरे के चलते प्रदूषण में बढ़ोत्तरी हो रही है।

आगे भी परेशान करेगा प्रदूषण

वायु गुणवत्ता आयोग ने शुक्रवार को इसे लेकर बैठक की। बैठक में दिल्ली में प्रदूषण को लेकर विस्तार से चर्चा की गई। इसमें बताया गया कि दिल्ली का वायु गुणवत्ता सूचकांक गंभीर श्रेणी में अगले कुछ दिनों तक रह सकता है। इसे ध्यान में रखते हुए अगर पाबंदियां नहीं लगाई गई तो स्थिति ज्यादा खराब हो सकती है। आयोग ने सरकार को भी प्रदूषण कम करने के लिए उचित कदम उठाने के निर्देश दिये हैं।

दिल्ली के सबसे प्रदूषित इलाके

जगह वायु गुणवत्ता सूचकांक

मुंडका 435

वजीरपुर 433

नेहरु नगर 431

बवाना 430

नरेला 425

सोनिया विहार 423

जहांगीरपुरी 419

लागू था ग्रैप का पहला एवं दूसरा चरण

गौरतलब है कि वायु गुणवत्ता आयोग के अनुसार बीते 4 दिसंबर को ग्रैप का तीसरा चरण आखिली बार उन्होंने लागू किया था। लेकिन वायु गुणवत्ता में सुधार के चलते 7 दिसंबर को ही इसे हटा लिया गया था। फिलहाल दिल्ली में ग्रैप का पहला एवं दूसरा चरण लागू था। लेकिन दिल्ली एनसीआर के इलाकों में लगातार बेहद खराब श्रेणी में प्रदूषण के होने की वजस से ग्रैप के तीसरे चरण को लागू करने का निर्णय लिया गया है।

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